मीरा अपने सारे दोस्तों को फोन करने की कोशिश कर रही थी...किसी का फोन नाट रिचेबल बता रहा था, तो किसी का स्विच आफ था, निधि का फोन बिजी था।
ऊफ्फ यह क्या हो रहा है….कोइ तो फोन उठा लो…। मीरा ने निहारिका की डेनिम कैप्री पैंट की जेब टटोली, ‘’हो सकता है फोन रखा हो, कम से कम अमित सर को पता होना चाहिए कि उनकी नई नवेली दुल्हन कहां है किस हाल में है।
समझ में नहीं आता कि मैम ऐसे शराब पीकर अकेले रोड पर क्यों घूम रही हैं? क्या अमित जी से कोई झगड़ा हो गया है? पर अभी तो केवल हफ्ते भर पहले ही शादी हुई है और इतनी जल्दी झगड़ा भी हो गया और इतना तगड़ा झगड़ा कि मैम अपनी परवाह किए बिना पीकर बिजी रोड पर होशोहवास खोकर चल भी रही हैं।‘’
निहारिका की पैंट की जेब में कोई मोबाइल नहीं मिला...’’ओह गॉड अब क्या करूं? क्या पता अमित जी इन्हें ढूंढ रहे हो? मैम के फैमिली मेंबर का फोन नंबर भी नहीं है मेरे पास...’’
मीरा को आभास हुआ कि बगल में बैठा वह शख्स मीरा को घूरकर देख रहा था, मीरा ने अपनी नजरें उठाकर देखी...वह सच में मीरा को ही देख रहा था, उसके चेहरे पर तिरछी स्माइल थी। मीरा को यह अच्छा नहीं लगा.…कहने को तो एक नामी आदमी, पर हरकतें एकदम सड़कछाप गुंडो वाली, एक लड़की घायल और बेहोश पड़ी है और दूसरी परेशान है पर यह आदमी एकदम लफंगों की तरह पेश आ रहा है।
‘’आप शायद मेरे बारे में गलत सोच रही हैं‘’ उस ब्लैक कलर के कोट वाले लड़के ने मीरा से कहा।
‘’ऐसा कुछ नहीं है मैं परेशान हूं, मीरा हैरान रह गई, इस आदमी को कैसे पता कि मैं इसके बारे में कुछ गलत ही सोच रही हूं।‘’
‘’आप मुझे जानती हैं ना कि मैं कौन हूं?‘’ लड़के ने पूछा
मीरा ने हां में सिर हिलाते हुए कहा, ‘’जी हां, आपका नाम आर्यन देशमुख है और आपके कई सारे बिजनेस हैं, आप फिल्मों में पैसा लगाते हैं....एक स्पोटर्स टीम के मालिक भी हैं…अभी हाल ही में आपने महाराष्ट्र के दो गांवो को गोद लिया है, आपका एक कैंसर हास्पिटल हैं जिसमें मुफ्त में कैंसर पेशेंट का इलाज होता है, एक कोल्ड ड्रिंक का बिजनेस भी है और भी कई सारे बिजनेस हैं आपके….’’ मीरा एक सांस में कह गई।
‘’वाह क्या बात है, आपने तो बहुत ही गहराई से छानबीन की है मेरे बारे में, इतना इंटरस्टिंग लगता हूं मैं आपको?’’
‘’इसमें छानबीन करने जैसा क्या है मिस्टर आर्यन? आपके बारे में हमेशा न्यूज पेपर और इंडिया टूडे जैसी मैगजीन में कुछ न कुछ लिखा ही जाता है।‘’
कैसा अजीब आदमी है यह? न सेचुएशन देखता है और ना ही लोग…कुछ भी बातें किए जा रहा है।
‘’आपको मेरे बारे में क्या अच्छा लगा है?‘’
‘’जी, क्या कहा आपने? मतलब मैं समझी नहीं, आपके इस सवाल का मतलब क्या है?‘’
‘’मतलब आप मेरे बारे में तो पढ़ती ही होंगी…उस समय मेरे बारे में क्या ख्याल आता है?‘’
मीरा का मन हुआ कि वह अपना सिर पीट ले…उसकी बॉस बेहोश उसकी गोद में पड़ी हैं, और इस इंसान को अपने बारे में जानना है, कितने चीप माइंड का है।
मीरा के मन में आया कि बता दे कि ‘’मैंने सुना है कि आप गे हैं, आपको लड़कियों से ज्यादा लड़के भाते हैं, कुछ अजीबों गरीब शौक भी हैं आपके....लोग डॉग, कैट, रैबिट, तोता पालते हैं, आपने अज़गर पाला हुआ है।‘’
पर मीरा चुप ही रही.…पहली मुलाकात में एक अंजान इंसान के बारे में मैं क्यों बोलू? वैसे भी मेरा तो इस लड़के से कभी कोई मतलब होने वाला नहीं है।
‘आप चुप क्यों हैं, क्या मेरी खूबियों को याद कर रही हैं कि क्या बताऊं और क्या न बताऊं? कोई बात नहीं…आप गूगल पर मेरे बारे में पढ़ सकती हैं, और चाहे तो मुझे बता सकती हैं, मुझे अपनी तारीफ सुनना अच्छा लगता है।‘’
‘मैं आपकी तारीफ क्यों करने लगी..?’’ मीरा ने झुंझलाते हुए कहा।
यह तो पूरी तरह से मेंटल है, पता नहीं इतने सारे बिजनेस कैसे चलाता है?
‘’बताया तो मुझे अच्छा लगता है, वैसे मैं जैसा लोगों को दिखता हूं एक्चुली में वैसा एकदम नहीं हूं।‘’
‘’वो तो साफ-साफ सामने ही दिख रहा है, आप साइको और मेंटल किस्म के हो, बेहतर होगा कि अपने ही खोले किसी मेंटल हास्पिटल में अपने आप को दिखाओ।‘’ मीरा ने मन ही मन कहा।
फिर वह आर्यन के ड्राइवर से बोली, ‘’अभी हास्पिटल कितनी दूर है, आप बार-बार कार क्यों रोक रहे हैं?‘’
मैडम जी, ट्रैफिक जाम लगा हुआ है और अभी रेड लाइट भी है, गाड़िया भी धीरे-धीरे निकल रही है।‘’
यह तो मीरा भी जानती थी, मुंबई का जाम सबसे बड़ी समस्या थी। शाम का समय था, लोगों के घर जाने का समय हो रहा था, तो चारों ओर केवल गाड़ियां ही गाड़ियां, पर मीरा अपने बगल में बैठे इस पकाऊ और फेमस बिजनेस मैन से उब रही थी। क्या जरूरत थी इसके कार में बैठने की...इससे अच्छा कोई आटो कर लेती तो ज्यादा अच्छा था, इतनी बहस तो न करनी पड़ती।
आर्यन ने फिर कहा, ‘’ये मैडम केवल नशे के कारण बेहोश हैं, हास्पिटल ले जाने की जरूरत नहीं है, आप चाहे तो इन्हें दही खिलाकर होश में ला सकती हैं।‘’
‘’आपको दिख नहीं रहा इनके सिर पर चोट भी लगी है।‘’ मीरा ने खीजकर कहा।
‘’इसे चोट नहीं एक मामूली खरोंच कह सकते हैं, जिसे आप चाहे तो डिटॉल से पोछकर कोई क्रीम लगा दीजिए नहीं तो बैंडेज भी बांध सकती हैं।‘’
‘’कैसा अजीब आदमी है, हार्टलेस, लोग सही कहते हैं, बड़े लोगों में दिल नहीं होता है।‘’
‘’आप फिर से मेरे बारे में कुछ बुरा सोच रही हैं....मैं सच में वैसा नहीं हूं।‘’
‘’मैं आपके बारे में कुछ नहीं सोच रही हूं मिस्टर आर्यन....प्लीज मुझे किसी छोटे हास्पिटल या क्लीनिक में मेरी मैम के साथ ड्राप कर दीजिए आपकी बड़ी मेहरबानी होगी।‘’
आर्यन ने अपने कंधे उचका दिए और ड्राइवर से कहा, ‘’सोनू...कार को आगे से राइट की ओर ले लेना, शारदा हास्पिटल के सामने रोक देना।‘’
‘’लेकिन सर वह हास्पिटल तो अभी बन रहा है।‘’
‘’हां इतना तो बन ही चुका है कि इन टल्ली मैडम का इलाज हो जाए, वैसे भी वहां ट्रीटमेंट का काम शुरू हो चुका है।‘’
आर्यन ने अपनी भौंह उठाकर मुस्कुराते हुए बेहोश पड़ी निहारिका को देखकर कहा।
मीरा को आर्यन का टल्ली सम्बोधन एकदम पसंद नहीं आया, मीरा के मन में आया कि कह दे कि तुम भी कम दारूबाज नहीं हो, पेजथ्री के पेज में हमेशा हाथ में शराब पकड़े रहते हो, एक बार तो नशे में धुत्त कार में बैठे थे, और किसी फोटोग्राफर ने फोटो क्लिक कर लिया था।
नीचे लिखा था कि कोई लड़का नशे की हालत में भी इतना हैंडसम कैसे लग सकता है, हैंडसम माई फुट...अपने गिरेबान में तो झांकते नहीं, दूसरों पर इल्जाम लगा देते हैं।
‘’सर हास्पिटल आ गया...सोनू ने कार रोकते हुए कहा।
मीरा ने पहले तो निहारिका को अपने कंधे से हटाकर उसका सिर कार की सीट पर टिकाया और खुद बाहर आ गई, आसपास देखने लगी कि किसी को बुलाकर निहारिका को उठाना पड़ेगा क्योंकि वह तो अभी भी पूरी तरह से अचेत थी।
मीरा किसी को मदद के लिए आवाज लगा पाती कि इतनी देर में आर्यन, निहारिका को अपनी गोद में उठाकर हास्पिटल के अंदर लेकर जा रहा था।
मीरा आंखे फाड़े यह नजारा देख रही थी, आर्यन ने निहारिका को ऐसे उठाया था जैसे वह कोई फूल जैसी नाजुक सी गुड़िया हो। मीरा भी तेज गति से चलकर आर्यन के पीछे पीछे जाने लगी, आर्यन को देखते ही हास्पिटल के स्टाफ में हड़कंप मच गया, हास्पिटल का मालिक ऐसे बिना बताए एक पेशेंट को लेकर इलाज करवाने आ गया था तो हंगामा मचना ही था।
वैसे तो किसी को उम्मीद नहीं थी आर्यन ऐसे आएगा...हास्पिटल के नर्स, डाक्टर, रिशेपसनिस्ट अपने अपने काम में खोए हुए थे, तभी आर्यन ने एक दवाईयों की गिनती कर रहे बिजी कम्पांडर से कहा, ‘’इन मैडम के लिए एक स्ट्रेचर लाया जाए।‘’
कम्पाउंडर के मुंह में पान भरा था, उसने आर्यन को बिना देखे ही मुंह बनाकर बोला, ‘’अभी खाली नहीं है, उधर बेड पर लिटा दो, देख लेते हैं।‘’
‘’हास्पिटल में पान खाना किसने एलाऊ किया तुम्हें? आर्यन ने इतना तेज कहा कि सबकी नजरें आर्यन पर टिक गई, वहां का पूरा स्टाफ आर्यन को पहचानता था...हास्पिटल के मालिक को कौन नहीं पहचानेगा? कुछ सेकेंड के लिए लगा कि हास्पिटल का समय रूक गया है, अपनी अपनी जगह पर सब स्तब्ध हो गए।‘’
पलक झपकते ही स्ट्रेचर का इंतजाम किया गया और निहारिका को इमरजेंसी वार्ड में ले जाया गया…हालाकि निहारिका की हालत ऐसी नहीं थी कि उसे इमरजेंसी वार्ड में ले जाने की जरूरत थी पर उन्हें आर्यन लेकर आए तो ट्रीटमेंट बहुत खास मिलने वाली थी।
दूर खड़ी मीरा स्तब्ध होकर यह सब देख रही थी....इस दुनिया में सबसे ताकतवर चीज पैसा ही होता है...जिसके पास पैसा उसके पास पॉवर और सारी दुनिया उसके कदमों में झुकती है।
आर्यन ने मीरा के पास आकर कहा, ‘’डाक्टर तुम्हारी मैम को नशा उतारने वाली दवाई दे रहे हैं आधे घंटे बाद उसे होश आ जाएगा फिर उसे घर ले जा सकते हैं‘’ कहकर आर्यन बाहर निकल आया।
मीरा के चेहरे पर धन्यवाद का भाव आ गया था, वह आर्यन को बहुत सारा थैंक्यू कहना चाहती थी....पर क्या पता थैंक्यू कहते ही यह इंसान और क्या-क्या कहने लगे?
मीरा भी बाहर आ गई......उसे लगा आर्यन चला गया होगा...इतने बड़े लोगों के पास टाइम कहां रहता है, पर आर्यन तो हास्पिटल के बाहर खड़ी अपनी कार से टिककर सिगरेट की लम्बी-लम्बी कश लेते हुए कुछ सोच रहा था।
ऐसे पोज में वह बहुत ही अटरैक्टिव और दिलकश लग रहा था, अगर यहां पेज थ्री टाइप का कोई फोटोग्राफर होता तो जरूर आर्यन की फोटो ले लेता।
‘’आप यहां क्यों खड़े हैं, मैम को होश आ जाएगा तो मैं उन्हें उनके घर पहुंचा दूंगी।‘’ मीरा ने आर्यन के पास आकर कहा।
आर्यन ने इस सवाल का जवाब न देकर उल्टा मीरा से ही सवाल किया, ‘’इनका नाम निहारिका है ना, निका ब्रांड की सीईओ।‘’
मीरा ने बड़े ही अचम्भे से आर्यन को देखा और हां में सिर हिलाया।
आर्यन ने कहा, ‘’शायद मैं जानता हूं कि इनकी ऐसी हालत क्यों हुई है और कैसे हुई है?‘’
‘’आप कैसे जानते हैं?‘’
‘’ये अमित बजाज की वाइफ हैं ना?‘
‘’जी हां, अभी एक हफ्ते पहले ही तो इनकी शादी हुई है।‘’
आर्यन ने सिर झटकते हुए कहा, ‘आजकल की जेनरेशन भी ना, शादी ही क्यों करते है?‘’
मीरा अजीब नजरों से आर्यन को देखकर मन ही मन कहती है, ‘’आजकल की जेनरेशन से क्या मतलब है…ये पिछली सदी, मुगल पीरियड या आदि मानवों के समय के हैं क्या?‘’
‘’आप कहना क्या चाहते हैं?‘’
मीरा के इस सवाल पर आर्यन ने जेब से अपना मोबाइल निकाला और ऑन कर के मीरा के सामने करते हुए एक फोटो दिखाया.…यही हैं ना अमित बजाज.....तुम्हारी बॉस के हसबैंड।‘’
‘हां, मीरा ने कहा।
अब आगे देखती जाओ, यह कल रात की फोटो है, मुंबई के सबसे बड़े क्लब हॉट एंड नॉटी नाइट क्लब की फोटो…’’ कहकर आर्यन बड़ी ही तेजी से अपनी ऊंगलिया फोन पर चलाने लगा और एक के बाद एक फोटो मीरा के सामने आने लगी।
अमित कई सारी लड़कियों के साथ घिरे थे.…उनमें से किसी के गाल पर किस कर रहे थे, किसी की गोद में बैठे थे, किसी की नाक अपनी नाक से टच कर रहे थे, ऐसा लग रहा था कि उसे किस करने वाले हैं, एक फोटो में निहारिका मैम भी थी, पर वे बेहद दुखी और उदास लग रही थी। वो एक कोने में बैठी थी, बड़ी ही निराशा और अफसोस भरी नजरों से कहीं देख रही थी, वे जरूर अमित सर की हरकतों को देख रही होंगी।
निहारिका ने वही ड्रेस पहना हुआ था जो अभी पहन रखा है, ऊफ्फ इतनी बड़ी बेवफाई, इतना बड़ा धोखा, कितनी खुशी से निहारिका ने अमित जी से शादी की थी।
एक बार फिर से उन्हें छला गया...इस बार तो उन्होंने कितने कान्फिडेंस से कहा था कि अमित ने उन्हें प्यार के सच्चे मायने सिखाए हैं, पता नहीं अब क्या होगा, सच में प्यार मोहब्बत तो करना ही नहीं चाहिए और शादी तो बिल्कुल भी नहीं…मैं उस चीफ से प्यार का नाटक कैसे करूंगी?
मीरा इस बात से भी हैरान थी कि आर्यन को इतनी जल्दी अमित के बारे में जानकारी कहां से मिल गई?
तभी अंदर से एक नर्स दौड़ती हुई बाहर आई और हांफते हुए आर्यन से बोली, ‘’सर उस लेडी को होश आ गया है, पर वो वो अपने आप को...’’
‘’अपने आप को क्या...?’’ मीरा ने घबराते हुए पूछा।
‘’आप खुद ही चलकर देख लीजिए।‘’
मीरा दौड़ते हुए हास्पिटल के अंदर गई….और उसने जो देखा उससे वो हैरान हो गई।
क्या हुआ है निहारिका के साथ?
ये सब देखने के बाद क्या मीरा मारिया से किया वादा निभा पायेगी?
आर्यन मीरा में इतनी दिलचस्पी क्यों ले रहा है?
मीरा की चीफ से मुलाकात कैसे होगी?
जानने के लिए पढ़ते रहिए ‘बहरूपिया मोहब्बत!’
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